छत्तीसगढ

जगदलपुर में तेज रफ्तार एम्बुलेंस ने सड़क किनारे खड़े ट्रक को मारी टक्कर, 2 की मौत, 6 गंभीर घायल

छत्तीसगढ़ के जगदलपुर जिले में एक दर्दनाक सड़क हादसा हुआ है, जिसमें दो लोगों की मौत हो गई और छह लोग गंभीर रूप से घायल हो गए हैं। यह दुर्घटना गुरुवार सुबह जगदलपुर- दंतेवाड़ा राष्ट्रीय राजमार्ग 30 पर हुई। घायलों को जगदलपुर के डिमरापाल अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जिसमें तीन की हालत नाजुक बताई जा रही है। इस हादसे की जानकारी कोंडेनार पुलिस थाना क्षेत्र से मिली, जहां यह दुर्घटना किलेपाल के पास हुई।

हादसे की जानकारी

पुलिस और स्थानीय सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, एक मरीज को दंतेवाड़ा जिले के किरंदुल परियोजना अस्पताल से जगदलपुर के डिमरापाल अस्पताल रेफर किया जा रहा था। इस दौरान तेज रफ्तार से आ रही एम्बुलेंस ने सड़क किनारे खड़े एक ट्रक को पीछे से टक्कर मार दी। इस टक्कर के कारण एम्बुलेंस का आगे का हिस्सा पूरी तरह से चकनाचूर हो गया। इस हादसे में एम्बुलेंस में सवार डॉक्टर और एक ड्रेसर की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि अन्य छह लोग गंभीर रूप से घायल हो गए।

घटना का कारण

यह दुर्घटना सुबह के समय हुई, जब एम्बुलेंस चालक ट्रक को सड़क किनारे खड़ा देख नहीं सका और तेज रफ्तार में ट्रक से टकरा गया। कोंडेनार पुलिस के अनुसार, हादसे के वक्त एम्बुलेंस में कुल 8 लोग सवार थे। इनमें से दो लोग, डॉक्टर मनोज पांडे और ड्रेसर राजकुमार, दोनों एम्बुलेंस के चालक के साथ सामने बैठे थे और पूरी तरह से ट्रक की टक्कर से कुचल गए। उनका निधन तुरंत हो गया।

वहीं, एम्बुलेंस के चालक की भी हालत गंभीर बताई जा रही है। हादसे की जानकारी मिलते ही कोंडेनार पुलिस ने घायलों को दूसरी एम्बुलेंस के माध्यम से तुरंत डिमरापाल अस्पताल भेजा। इसके साथ ही राष्ट्रीय राजमार्ग को जल्दी ही साफ किया गया ताकि यातायात में कोई रुकावट न आए।

गंभीर घायलों का इलाज

इस हादसे में गंभीर रूप से घायल हुए छह लोगों को अस्पताल में भर्ती कराया गया है। इन घायलों में एम्बुलेंस चालक भी शामिल है, जिनकी हालत अभी भी गंभीर बनी हुई है। पुलिस और अस्पताल के सूत्रों के अनुसार, इन घायलों की स्थिति को देखते हुए उन्हें शीघ्र इलाज दिया जा रहा है। डिमरापाल अस्पताल के डॉक्टरों का कहना है कि घायलों में से तीन की स्थिति बेहद नाजुक है, जिनकी जीवन रक्षा के लिए लगातार उपचार जारी है।

ट्रक की जब्ती और कार्रवाई

इस हादसे के बाद कोंडेनार पुलिस ने ट्रक को जब्त कर लिया है और एम्बुलेंस चालक की लापरवाही के कारण हुई दुर्घटना के संबंध में जांच शुरू कर दी है। पुलिस का कहना है कि ट्रक को सड़क पर खड़ा करने की कोई अनुमति नहीं थी, और इस घटना के लिए ट्रक के मालिक को भी जिम्मेदार ठहराया जा सकता है।

पुलिस ने घटना के बाद मामला दर्ज कर लिया है और आगे की जांच की जा रही है। पुलिस अधिकारियों का कहना है कि इस तरह की घटनाओं को रोकने के लिए कड़ी कार्रवाई की जाएगी, ताकि भविष्य में इस प्रकार के हादसों को रोका जा सके।

जिले में सड़क दुर्घटनाओं में वृद्धि

यह हादसा बस्तर जिले में पिछले 14 दिनों के अंदर तीसरी सड़क दुर्घटना है। दो दिन पहले ही अमगुड़ा चौक में एक ट्रक ने बाइक सवार एक दंपति और उनके बच्चे को कुचल दिया था, जिसमें तीनों की मौके पर ही मौत हो गई थी। इसके अलावा एक और सड़क दुर्घटना में एक व्यक्ति की जान चली गई। इस प्रकार, पिछले दो हफ्तों में जिले में 6 लोग अपनी जान गंवा चुके हैं और 10 से ज्यादा लोग घायल हुए हैं।

सड़क सुरक्षा को लेकर स्थानीय प्रशासन और पुलिस की ओर से अब तक कोई ठोस कदम नहीं उठाए गए हैं, जिसके कारण दुर्घटनाओं में लगातार वृद्धि हो रही है। खासकर राष्ट्रीय राजमार्गों और प्रमुख सड़कों पर लापरवाही और तेज रफ्तार वाहन चलाने की घटनाएं आम हो गई हैं।

सड़कों पर बढ़ती दुर्घटनाओं के कारण

सड़क दुर्घटनाओं के बढ़ते मामलों में कई कारण जिम्मेदार हैं, जिनमें सबसे प्रमुख कारण तेज रफ्तार, सड़क किनारे खड़े वाहन, खराब सड़कें और वाहनों की लापरवाही से चलाना हैं। इसके अलावा, ट्रक और अन्य भारी वाहनों का सड़क किनारे खड़ा होना भी कई दुर्घटनाओं का कारण बनता है।

विशेषज्ञों के अनुसार, सड़कों पर अधिकतम रफ्तार की सीमा और वाहनों के सही तरीके से खड़ा करने के नियमों का पालन करना अत्यंत आवश्यक है। यदि सड़कों पर यातायात के नियमों का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए तो दुर्घटनाओं में कमी लाई जा सकती है।

सड़क सुरक्षा के उपाय

सरकार और स्थानीय प्रशासन को इस प्रकार की दुर्घटनाओं को रोकने के लिए कड़े कदम उठाने की आवश्यकता है। सबसे पहले तो सड़कों की सुरक्षा के लिए पूरी तरह से मानक लागू किए जाने चाहिए। तेज रफ्तार पर नियंत्रण, खड़ी गाड़ियों के लिए सुरक्षित स्थान, और सड़क किनारे पर्याप्त चेतावनी बोर्ड लगाए जाने चाहिए ताकि दुर्घटनाओं को कम किया जा सके।

इसके अलावा, नागरिकों को भी यातायात नियमों का पालन करना चाहिए और लापरवाही से वाहन न चलाएं। खासकर मेडिकल सेवाओं के लिए चलने वाली एम्बुलेंस जैसे महत्वपूर्ण वाहनों के चालक को विशेष ध्यान और प्रशिक्षण देना चाहिए, ताकि वे रास्ते में आने वाली किसी भी बाधा से बच सकें और किसी दुर्घटना का शिकार न हों।

जगदलपुर में हुई यह दुर्घटना एक बार फिर हमें यह याद दिलाती है कि सड़कों पर सुरक्षा और दुर्घटनाओं के कारणों पर गंभीरता से विचार किया जाना चाहिए। प्रशासन और नागरिक दोनों को मिलकर सड़क सुरक्षा के उपायों को अपनाना चाहिए ताकि भविष्य में ऐसी दर्दनाक घटनाओं को टाला जा सके। इस हादसे में मृतकों के परिवारों के प्रति गहरी संवेदनाएं व्यक्त की जाती हैं और घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना की जाती है।

Related Articles

Leave a Reply

Back to top button

Discover more from Media Auditor

Subscribe now to keep reading and get access to the full archive.

Continue Reading

%d