Chattisgarh: सुकमा में सुरक्षा बलों की बड़ी कार्रवाई, नक्सलियों के ठिकाने से विस्फोटक और हथियार बरामद
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Chattisgarh: छत्तीसगढ़ के सुकमा जिले में सुरक्षा बलों को बड़ी सफलता हाथ लगी है। सुरक्षाबलों ने जंगल में छापा मारकर बड़ी मात्रा में हथियार और विस्फोटक बरामद किए हैं। पुलिस अधिकारियों ने शनिवार को जानकारी दी कि सुकमा जिले के चिंतागुफा थाना क्षेत्र में स्थित गुंडराजगुड़े गांव के पास चिंतावागु नदी के किनारे भारी मात्रा में हथियार और अन्य आपत्तिजनक सामान बरामद किया गया है।
नक्सलियों के ठिकाने पर पुलिस का बड़ा ऑपरेशन
सूत्रों के मुताबिक, पुलिस को गुप्त सूचना मिली थी कि नक्सली चिंतागुफा थाना क्षेत्र के जंगलों में मौजूद हैं और किसी बड़ी वारदात को अंजाम देने की फिराक में हैं। इसी सूचना के आधार पर केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) की कोबरा बटालियन और जिला बल की एक संयुक्त टीम को शुक्रवार को जंगलों में भेजा गया। टीम ने पीनाचंदा, गुंडराजगुड़े गांव और चिंतावागु नदी के किनारे छानबीन की।
घने जंगलों में छिपा था विस्फोटक और हथियारों का जखीरा
पुलिस अधिकारियों के अनुसार, जब सुरक्षा बल चिंतावागु नदी के किनारे स्थित घने जंगलों में पहुंचे, तो उन्हें वहां एक गुप्त ठिकाना मिला, जहां नक्सलियों ने हथियार और विस्फोटक छिपा रखे थे। यह ठिकाना गुंडराजगुड़े गांव से करीब डेढ़ किलोमीटर दूर था। सुरक्षा बलों ने इलाके को घेरकर सर्च ऑपरेशन शुरू किया और मौके से भारी मात्रा में हथियार, गोलाबारूद और अन्य आपत्तिजनक सामान बरामद किए।
बाइनोकुलर से लेकर देसी हथियार तक बरामद
पुलिस अधिकारियों ने बताया कि सुरक्षाबलों को मौके से दो देसी हथियार, एक बाइनोकुलर, 50 से अधिक दवाओं की स्ट्रिप्स, पांच इंजेक्शन, 12 इंजेक्शन सीरिंज, 50 ग्राम विस्फोटक पाउडर, नक्सली साहित्य और अन्य आपत्तिजनक सामग्री मिली। इन चीजों से यह स्पष्ट होता है कि नक्सली बड़ी साजिश रच रहे थे और उन्होंने जंगल में ठिकाना बनाकर इसे अपना अड्डा बना लिया था।
सुरक्षा बलों का ऑपरेशन जारी, कई नक्सलियों का खात्मा
छत्तीसगढ़ सरकार और सुरक्षाबल पिछले एक साल से नक्सल उन्मूलन अभियान को तेज कर चुके हैं। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साई के नेतृत्व में राज्य सरकार ने नक्सलवाद को खत्म करने की कसम खाई है। पुलिस अधिकारियों का कहना है कि बीते एक साल में बड़ी संख्या में नक्सली मारे गए हैं और कई ने आत्मसमर्पण भी किया है। सुकमा, दंतेवाड़ा और बीजापुर जिले में नक्सलियों के खिलाफ लगातार ऑपरेशन चल रहे हैं, जिससे उनके गढ़ों को ध्वस्त किया जा रहा है।
लैंडमाइन धमाके में एक जवान घायल
नक्सली हमलों का खतरा अभी भी बरकरार है। शुक्रवार (21 फरवरी) को नारायणपुर जिले में एक जवान लैंडमाइन की चपेट में आकर घायल हो गया। पुलिस अधिकारियों ने बताया कि नारायणपुर जिले के छोटेडोंगर थाना क्षेत्र में टॉयमेटा और कावनार गांव के बीच जंगल में गश्त के दौरान जिला रिजर्व गार्ड (डीआरजी) का एक जवान आईईडी ब्लास्ट में घायल हो गया। यह घटना दोपहर करीब 1:45 बजे हुई।
गश्त पर निकली संयुक्त टीम में जिला बल और डीआरजी के जवान शामिल थे। जब वे जंगल में आगे बढ़ रहे थे, तभी एक जवान नक्सलियों द्वारा बिछाई गई लैंडमाइन की चपेट में आ गया। तुरंत उसे जंगल से बाहर निकालकर अस्पताल पहुंचाया गया, जहां उसकी हालत खतरे से बाहर बताई जा रही है।
नक्सली लैंडमाइन बिछाकर कर रहे हमले
बस्तर क्षेत्र के सात जिलों, जिनमें नारायणपुर, दंतेवाड़ा, सुकमा, कांकेर और बीजापुर शामिल हैं, में नक्सली सक्रिय हैं। वे सुरक्षा बलों को निशाना बनाने के लिए जंगलों और सड़कों पर लैंडमाइन बिछाते हैं। इससे पहले भी कई जवान और आम नागरिक इन विस्फोटकों की चपेट में आकर शिकार बन चुके हैं।
15 फरवरी को भी बीजापुर जिले में सीआरपीएफ का एक जवान लैंडमाइन (प्रेशर बम) की चपेट में आकर घायल हो गया था। यह स्पष्ट संकेत देता है कि नक्सली अपनी हरकतों से बाज नहीं आ रहे हैं और सुरक्षाबलों को नुकसान पहुंचाने के लिए नई रणनीतियां बना रहे हैं।
सरकार और पुलिस की अपील – आम जनता सहयोग करे
सरकार और पुलिस प्रशासन ने स्थानीय लोगों से अपील की है कि वे नक्सलियों की किसी भी संदिग्ध गतिविधि की सूचना तुरंत पुलिस को दें। सुरक्षा बल नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में लगातार अभियान चला रहे हैं और जनता का सहयोग इस लड़ाई को और प्रभावी बना सकता है।
छत्तीसगढ़ पुलिस और केंद्रीय सुरक्षा बलों का मानना है कि यदि स्थानीय समुदाय नक्सलियों के खिलाफ खड़ा हो जाए, तो इस समस्या को जड़ से खत्म किया जा सकता है। सरकार भी आत्मसमर्पण करने वाले नक्सलियों को मुख्यधारा में लाने के लिए कई योजनाएं चला रही है, ताकि वे हिंसा का रास्ता छोड़कर समाज का हिस्सा बन सकें।
नक्सल उन्मूलन अभियान होगा और तेज
मुख्यमंत्री विष्णुदेव साई और केंद्रीय गृह मंत्रालय के निर्देशों के तहत छत्तीसगढ़ में नक्सल विरोधी अभियान को और तेज किया जाएगा। आधुनिक तकनीक, खुफिया इनपुट और स्थानीय पुलिस के सहयोग से नक्सलियों के खिलाफ निर्णायक लड़ाई लड़ी जा रही है। आने वाले दिनों में सुरक्षाबलों का अभियान और सघन होगा और नक्सलवाद को खत्म करने के लिए रणनीतिक कार्रवाई की जाएगी।
सुकमा जिले में सुरक्षा बलों द्वारा की गई इस कार्रवाई से यह साफ हो गया है कि सरकार और पुलिस नक्सलवाद के खिलाफ पूरी ताकत से अभियान चला रही है। भारी मात्रा में हथियार और विस्फोटक बरामद होने से यह स्पष्ट संकेत मिलता है कि नक्सली किसी बड़े हमले की योजना बना रहे थे, जिसे सुरक्षाबलों ने समय रहते विफल कर दिया।
हालांकि, नक्सली गतिविधियों पर पूरी तरह लगाम लगाने के लिए सरकार और सुरक्षा एजेंसियों को लगातार सतर्क रहना होगा और स्थानीय जनता को भी इस मुहिम में सहयोग देना होगा। जब तक नक्सलवाद का खात्मा नहीं होता, तब तक सुरक्षा बलों की यह जंग जारी रहेगी।