उत्तर प्रदेश

UP विधानसभा की सुरक्षा कड़ी, 156 पुलिसकर्मियों की तैनाती, जानिए वजह

लखनऊ: उत्तर प्रदेश विधानसभा की सुरक्षा व्यवस्था को और सख्त करने के लिए राज्य सरकार ने महत्वपूर्ण कदम उठाए हैं। पुलिस कमिश्नर अमरेन्द्र सिंह के निर्देश पर विधानसभा परिसर और राजभवन की सुरक्षा में 156 पुलिसकर्मियों को तैनात किया गया है। यह कदम हाल ही में विधानसभा और राजभवन के आसपास आत्मदाह की घटनाओं की बढ़ती संख्या को देखते हुए उठाया गया है। इन घटनाओं के मद्देनजर, राज्य सरकार ने सुरक्षा के दृष्टिकोण से एक नया कदम उठाते हुए सुरक्षा को और कड़ा कर दिया है।

विधानसभा परिसर को चार जोन में बांटा गया

नए सुरक्षा प्रबंधों के तहत विधानसभा परिसर को चार अलग-अलग जोन में बांटा गया है। इनमें विधान भवन, राज भवन, गोल्फ क्लब चौक और गौतमपल्ली प्रमुख जोन हैं। इन जोनों में पुलिस बल को विभिन्न शिफ्टों में तैनात किया गया है, ताकि किसी भी घटना के होने पर तुरंत कार्रवाई की जा सके। खास बात यह है कि तैनात पुलिसकर्मी अब फायर उपकरणों और बाइकों के साथ होंगे, जिससे आपात स्थिति में त्वरित बचाव किया जा सके।

आत्मदाह की घटनाओं को रोकने के लिए कदम

उत्तर प्रदेश में हाल ही में 14 आत्मदाह की घटनाएं सामने आईं, जिनमें से अधिकांश लोग अन्य जिलों से आकर राजभवन और विधानसभा के पास आत्मदाह करने का प्रयास कर रहे थे। हालांकि, इन घटनाओं में से अधिकांश में सुरक्षा कर्मियों ने समय रहते लोगों की जान बचा ली, लेकिन दो लोगों की मौत भी हो गई। इन घटनाओं के कारण सुरक्षा व्यवस्था को और कड़ा करने की आवश्यकता महसूस की गई।

UP विधानसभा की सुरक्षा कड़ी, 156 पुलिसकर्मियों की तैनाती, जानिए वजह

डीसीपी सेंट्रल, रवीना त्यागी ने जानकारी दी कि अब विधानसभा परिसर में तैनात सुरक्षा बल में एक निरीक्षक, 12 उप निरीक्षक, 117 कांस्टेबल और 24 महिला कांस्टेबल शामिल होंगे। इनमें से दो महिला कांस्टेबल plain clothes में तैनात रहेंगी, ताकि किसी भी संदिग्ध गतिविधि पर तुरंत नजर रखी जा सके। यदि कोई व्यक्ति आत्मदाह का प्रयास करता है, तो सुरक्षा कर्मी उसे तुरंत रोकेंगे और नियंत्रण अधिकारी इस घटना की रिपोर्ट तैयार कर एसपी को भेज देंगे, जिसके बाद संबंधित अधिकारियों को सूचित किया जाएगा। इसके साथ ही, दूसरे जिलों से आने वाले अलर्ट्स पर भी ध्यान दिया जाएगा।

पुलिसकर्मियों की तैनाती और कार्रवाई

पुलिस द्वारा की गई यह व्यवस्था सुरक्षा की दृष्टि से महत्वपूर्ण कदम है, जिससे न केवल आत्मदाह की घटनाओं को रोका जा सकेगा, बल्कि अन्य अप्रत्याशित घटनाओं पर भी तुरंत कार्रवाई की जा सकेगी। पुलिसकर्मियों की तैनाती के साथ-साथ, यह भी सुनिश्चित किया गया है कि सभी सुरक्षा कर्मी घटनास्थल पर समय रहते पहुंचें और किसी भी प्रकार की घटना से निपटने के लिए तत्पर रहें।

सुरक्षा का व्यापक दायरा

राजधानी लखनऊ में विधानसभा और राजभवन के आसपास की सुरक्षा व्यवस्था को मजबूती प्रदान करने के साथ-साथ, सुरक्षा अधिकारियों ने अन्य संबंधित स्थानों पर भी निगरानी बढ़ा दी है। इसके अतिरिक्त, वहां तैनात पुलिसकर्मी गश्त भी करेंगे ताकि कोई अप्रिय घटना न हो। इस कदम से न केवल विधानसभा और राजभवन के पास सुरक्षा मजबूत होगी, बल्कि प्रदेश के अन्य क्षेत्रों में भी सुरक्षा की सतर्कता बढ़ेगी।

उत्तर प्रदेश विधानसभा की सुरक्षा व्यवस्था को इस तरह से कड़ा किया गया है ताकि भविष्य में इस प्रकार की घटनाओं को रोका जा सके। पुलिस की बढ़ी हुई तैनाती, विशेष उपकरणों के साथ तैयारी और तत्काल कार्यवाही करने की नीति से यह आशा जताई जा रही है कि विधानसभा और राजभवन के आसपास होने वाली आत्मदाह की घटनाओं पर प्रभावी नियंत्रण पाया जा सकेगा। राज्य सरकार और पुलिस प्रशासन द्वारा उठाए गए इस कदम से प्रदेशवासियों में सुरक्षा का अहसास होगा, और शासन-प्रशासन की जिम्मेदारी निभाने में मदद मिलेगी।

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