मध्य प्रदेश

मध्य प्रदेश में भी Yati Narasimhanand के बयान का विरोध, एफआईआर दर्ज करने की मांग

उत्तर प्रदेश के गाज़ियाबाद निवासी जूना अखाड़ा के महामंडलेश्वर Yati Narasimhanand द्वारा पैगंबर मोहम्मद पर दिए गए विवादित बयान का विरोध अब मध्य प्रदेश में भी जोर पकड़ रहा है। मुस्लिम समुदाय ने उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की मांग की है। राजधानी भोपाल में भोपाल उत्तर से विधायक आतिफ अकील और भोपाल सेंट्रल कांग्रेस विधायक आरिफ अकील ने मुस्लिम समुदाय के लोगों के साथ पुलिस आयुक्त हरी नारायण चारी को ज्ञापन सौंपकर अपनी आपत्ति दर्ज कराई है।

सोशल मीडिया पर वायरल हुआ वीडियो

ज्ञापन में कहा गया है कि Yati Narasimhanand सरस्वती ने 29 सितंबर 2024 को गाज़ियाबाद में पैगंबर हज़रत मोहम्मद और इस्लाम के खिलाफ आपत्तिजनक बयान देते हुए एक वीडियो जारी किया था। इस बयान से मुस्लिम समुदाय की धार्मिक भावनाओं को गहरी चोट पहुंची है। Yati Narasimhanand ने इस्लाम के खिलाफ आधारहीन बयान दिया और कहा कि अब ऐसे अपराधी पैदा हो गए हैं, जिनके सामने रावण की कोई अहमियत नहीं है। अगर आज किसी का पुतला जलाना है तो मैं सभी हिंदुओं से अपील करता हूँ कि मोहम्मद का पुतला जलाएं।

इस बयान का वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो गया और पूरे देश में लोगों ने इसे देखा। आरोप है कि Yati Narasimhanand ने धार्मिक आधार पर हिंदू समाज के अनुयायियों को मुसलमानों और इस्लाम के खिलाफ उकसाने का आपराधिक कार्य किया है, जो राष्ट्रीय एकता के लिए घातक साबित हो सकता है। इसके चलते मुस्लिम समुदाय की धार्मिक भावनाएं आहत हुई हैं।

भारतीय जनता पार्टी पर आरोप

कांग्रेस विधायक आरिफ मसूद ने मीडिया से बातचीत करते हुए कहा कि भारतीय जनता पार्टी नफरत फैलाने में माहिर है। उन्होंने आरोप लगाया कि अगर सही तरीके से जांच की जाए तो यह पूरी साजिश भाजपा की होगी। उन्होंने कहा कि यह विवाद ऐसे समय में क्यों किया जा रहा है, जबकि सभी पीर हमेशा शांति का संदेश देते हैं। आज तक मैंने नहीं सुना कि किसी संत या मौलाना ने किसी दूसरे धर्म के खिलाफ अपमानजनक बातें कही हों। Yati Narasimhanand को भी खुद पर विचार करना चाहिए।

मध्य प्रदेश में भी Yati Narasimhanand के बयान का विरोध, एफआईआर दर्ज करने की मांग

“ऐसे लोग भारत का माहौल बिगाड़ रहे हैं”

वहीं, भोपाल उत्तर के विधायक आतिफ अकील ने शाहजहानाबाद पुलिस स्टेशन में आवेदन देकर Yati Narasimhanand के खिलाफ आपराधिक मामला दर्ज करने और उन्हें पुलिस हिरासत में लेकर हाई कोर्ट में पेश करने की मांग की है। उन्होंने मीडिया से बात करते हुए कहा, “भारत में सभी लोग धर्मनिरपेक्ष हैं, सब मिल-जुलकर रहते हैं। जो लोग देश का माहौल बिगाड़ रहे हैं, उन्हें जेल में डाला जाना चाहिए। हम ऐसे लोगों के खिलाफ पुलिस स्टेशन आए हैं और हमारी मांग है कि ऐसे लोगों को मानसिक अस्पताल भेजा जाना चाहिए।”

एफआईआर की मांग

भोपाल के शहर काजी मुश्ताक अली नदवी ने भी पुलिस आयुक्त हरी नारायण चारी से मुलाकात कर Yati Narasimhanand की गिरफ्तारी की मांग की। उन्होंने कहा कि हमारे पैगंबर मोहम्मद का अपमान किया गया है, जो असहनीय है। एक मुसलमान अपनी आस्था के लिए सब कुछ कुर्बान कर सकता है। हमने इस मामले में आवेदन दिया है और हमें उम्मीद है कि प्रशासन इस पर कार्रवाई करेगा।

बढ़ते विरोध के बीच तनाव

मध्य प्रदेश में Yati Narasimhanand के बयान के बाद मुस्लिम समुदाय में नाराजगी बढ़ती जा रही है। लोगों का मानना है कि ऐसे विवादित बयान न केवल धार्मिक भावनाओं को आहत करते हैं बल्कि समाज में अस्थिरता और द्वेष भी पैदा करते हैं। खासतौर पर तब जब देश में सांप्रदायिक सौहार्द्र बनाए रखने की बात हो रही है, ऐसे बयानों से सामाजिक ताने-बाने पर नकारात्मक प्रभाव पड़ता है।

धार्मिक नेताओं से संयम बरतने की अपील

इस घटनाक्रम के बीच मुस्लिम समुदाय ने सभी धार्मिक नेताओं से अपील की है कि वे एक-दूसरे के धर्मों के खिलाफ अपमानजनक बातें न कहें। समुदाय ने यह भी आग्रह किया है कि धार्मिक नेताओं को अपनी जिम्मेदारी समझनी चाहिए और समाज में शांति और भाईचारा बनाए रखने के लिए काम करना चाहिए।

प्रशासन का रुख

मध्य प्रदेश पुलिस प्रशासन ने आश्वासन दिया है कि इस मामले में उचित कार्रवाई की जाएगी। पुलिस का कहना है कि वे इस मामले की गहराई से जांच कर रहे हैं और यदि आवश्यक हुआ तो आरोपियों के खिलाफ सख्त कदम उठाए जाएंगे। पुलिस ने भीड़ को शांत करने और किसी भी तरह के कानून-व्यवस्था की स्थिति से निपटने के लिए अतिरिक्त सुरक्षा बल तैनात कर दिए हैं।

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