इंदौर की सड़कों से BRTS हटेगा, मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के फैसले से लोगों में खुशी
मध्यप्रदेश के वाणिज्यिक राजधानी इंदौर की सड़कों से BRTS (बस रैपिड ट्रांजिट सिस्टम) को हटाने का ऐलान मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने किया है। यह घोषणा राज्य की राजधानी भोपाल में BIT (बस इन्वर्टेड ट्रैक) को हटाने के उदाहरण के आधार पर की गई है। मुख्यमंत्री ने कहा कि BRTS को हटाने से इंदौर के नागरिकों को बहुत राहत मिलेगी और उनकी समस्याओं का समाधान होगा। इसके अलावा, उन्होंने यह भी कहा कि इस निर्णय के बारे में कोर्ट में भी स्थिति स्पष्ट की जाएगी।
BRTS का इंदौर में प्रभाव
इंदौर में BRTS की व्यवस्था ने शहरवासियों के लिए कई समस्याएँ खड़ी की हैं। BRTS का 11 किलोमीटर से ज्यादा लंबा रूट है, जिसमें केवल बसें चलती हैं। इस रूट पर अन्य वाहन, जैसे कार, बाइक और ऑटो रिक्शा, नहीं जा सकते हैं। इससे अन्य वाहनों के लिए सड़कें संकरी हो जाती हैं, और जाम की स्थिति उत्पन्न होती है। यहां तक कि एंबुलेंस जैसी आपातकालीन सेवाओं को भी इस रूट पर जाने में कठिनाई होती है।
इसके अलावा, इस सिस्टम के चलते लोगों को आमतौर पर अपनी कारों और अन्य वाहनों को साइड सड़कों पर रोककर जाम में फंसे रहना पड़ता है, जिससे ट्रैफिक की समस्या और भी जटिल हो जाती है। इन समस्याओं के कारण हाई कोर्ट में पब्लिक इंटरेस्ट लिटिगेशंस (PILs) भी लंबित हैं।
मुख्यमंत्री का अहम फैसला
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने इस मुद्दे पर गहरी चिंता जताई और कहा कि जैसे भोपाल में BIT को हटाया गया था, वैसे ही इंदौर में भी BRTS को हटाने का निर्णय लिया गया है। उन्होंने स्पष्ट किया कि यह निर्णय जनता की समस्याओं के समाधान के लिए लिया गया है। मुख्यमंत्री ने यह भी बताया कि कई बार इस विषय पर जनप्रतिनिधियों ने बैठकें की थीं, और अब उनकी समस्याओं के समाधान के लिए यह कदम उठाया जा रहा है।
मुख्यमंत्री ने कहा, “BRTS हटाने से इंदौर में ट्रैफिक जाम की समस्या कम होगी, और लोगों को सड़क पर ज्यादा जगह मिलेगी। इससे आम जनता को राहत मिलेगी।” उनका यह भी मानना है कि इस निर्णय से इंदौर की सड़कों पर यातायात की स्थिति सुधरेगी और ड्राइवरों को भी सुगम मार्ग मिलेगा।
जनप्रतिनिधियों और नागरिकों की प्रतिक्रियाएँ
इंदौर के विधायक गोपाल शुक्ला ने मुख्यमंत्री के इस निर्णय का स्वागत किया है। उन्होंने कहा, “यह फैसला इंदौर के नागरिकों के लिए बहुत फायदेमंद होगा। BRTS के कारण जो यातायात की समस्याएँ उत्पन्न हो रही थीं, वे अब समाप्त हो जाएंगी।”
इंदौर के बंगंगा क्षेत्र के निवासी मनोज बिंदल ने भी मुख्यमंत्री के फैसले का समर्थन किया। उन्होंने कहा, “BRTS हटने से सड़कों का आकार बढ़ेगा, जिससे वाहन चालकों को आसानी होगी और ट्रैफिक की स्थिति बेहतर होगी।”
सार्वजनिक परिवहन की स्थिति में सुधार
BRTS के हटने के बाद, इंदौर की सड़कों पर यातायात की स्थिति में सुधार की उम्मीद है। इससे सड़कों पर यातायात की समस्या कम होगी, और आम लोगों को यातायात में परेशानी का सामना नहीं करना पड़ेगा। साथ ही, यह निर्णय इंदौर के विकास की दिशा में एक सकारात्मक कदम होगा, जो शहरवासियों की सुविधा को ध्यान में रखते हुए लिया गया है।
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव द्वारा लिया गया यह निर्णय इंदौर के नागरिकों के लिए राहत भरा है। BRTS को हटाने से न केवल ट्रैफिक की समस्या हल होगी, बल्कि शहरवासियों को बेहतर सड़क यातायात की सुविधा भी मिलेगी। मुख्यमंत्री के इस ऐतिहासिक कदम ने इंदौर की सड़कों को सुगम बनाने का मार्ग प्रशस्त किया है, जिससे शहर का विकास और शहरी जीवन और भी बेहतर होगा।